हटा विधानसभा में बढ़ती अराजकता, भ्रष्टाचार और गुंडागर्दी के खिलाफ पत्रकार व क्षेत्रवासी धरने पर बैठे – पटेरा मे मामला गरमाया,,,,
दमोह: हटा विधानसभा क्षेत्र में दिनों-दिन बढ़ रही अराजकता, गुंडागर्दी, अवैध शराब बिक्री, जुआ-सट्टा एवं अवैध खनन जैसे गैरकानूनी गतिविधियों के खिलाफ अब पत्रकारों और क्षेत्रवासियों का गुस्सा फूट पड़ा है। लोकतंत्र का चौथा स्तंभ – पत्रकारिता, अब तीसरे स्तंभ – जनता के साथ मिलकर सड़क पर उतर आई है। पटेरा में क्षेत्रीय पत्रकार और स्थानीय निवासी धरने पर बैठ गए हैं और प्रशासन से सख्त कार्रवाई की मांग कर रहे हैं।
धरना दे रहे लोगों का कहना है कि यदि इन अवैध गतिविधियों पर शीघ्र रोक नहीं लगाई गई, तो वे उग्र आंदोलन करेंगे, जिसकी पूरी जिम्मेदारी प्रशासन और पुलिस की होगी।
विधायक के परिजनों पर गंभीर आरोप,,, बने चर्चाओ का विषय
जानकारी के अनुसार, इन अवैध गतिविधियों के विरोध में आवाज उठाने वाले पत्रकारों को न केवल धमकाया जा रहा है, बल्कि उन पर हमले भी किए जा रहे हैं। आरोप है कि स्वयं हटा विधानसभा की वर्तमान विधायक के परिजन पत्रकारों के साथ मारपीट कर रहे हैं और उन्हें डराने-धमकाने के लिए फर्जी एससी/एसटी एक्ट के तहत मामले दर्ज करवा रहे हैं।
पुलिस प्रशासन की भूमिका सबालो के घेरे मे,लोगो ने कहा, पुलिस प्रशासन एक काम करो, बर्दी उतारो और नेता ज़ी के घर काम करो,,
स्थानीय लोगों का आरोप है कि पुलिस प्रशासन अपने कर्तव्यों को भूलकर नेताओं के इशारों पर काम कर रहा है। वरिष्ठ अधिकारियों तक बार-बार शिकायतें पहुंचाए जाने के बावजूद न कोई कड़ी कार्रवाई हो रही है और न ही अधिकारियों की ओर से गंभीरता दिखाई जा रही है। उल्टा पत्रकारों को ही चेतावनी दी जा रही है कि वे विधायक या उनके परिजनों से जुड़े मामलों की कवरेज न करें।
इस पूरे घटनाक्रम को लेकर क्षेत्र में भारी असंतोष है। प्रदर्शनकारियों का कहना है कि जब तक प्रशासन ठोस कार्रवाई नहीं करता और दोषियों पर सख्त कदम नहीं उठाए जाते, धरना जारी रहेगा। अब देखना होगा कि शासन और प्रशासन इस बढ़ती जन आक्रोश की लहर को कैसे नियंत्रित करता है।
